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बाल गोपाल

बच्चे को डायपर पहनाती है तो जान लें इससे होने वाली प्रॉबल्म

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पहले मां-बाप अपने बच्चों को घर पर बने कपड़े के नैपी पहनाया करते थे। आजकल के पेरेट्स अपने बच्चों को इंफेक्शन से बचाने के लिए डायपर पहनाना पंसद करते है लेकिन आप शायद ये नहीं जानते कि ऐसा करके आप अपने बच्चों को सुरक्षित रखने के लिए मुसीबत में डाल रहे है। इससे बच्चों को यूरिनल इंफेक्शन के अलावा और कई तरह की प्रॉब्लम होने का डर रहता है। अगर इसके इस्तेमाल में थोड़ी सावधानी बरती जाएं तो बच्चों को इंफेक्शन के खतरे से बचाया जा सकता है।
1. इंफेक्शन का डर – ज्यादा समय तक बच्चों को डायपर पहनाने से उन्हें यूरिनल इंफेक्शन होने का डर रहता है। इस संक्रमण के कारण बच्चों मेें चिड़चिड़ापन आ जाता है। इससे बच्चे आगे चलकर आक्रामक हो जाते है।

2. डायपर पैकिट को बच्चों से दूर रखना – डायपर बदलते समय उसके पैकिट को बच्चों से दूर रखें। क्योंकि इसे बच्चे के पास रखने से उन्हें सांस लेने में तकलीफ होने लगती है। इसके पैकेट में इस तरह के कैमिकल होते है जिससे बच्चों को सांस लेने में कठिनाई हो सकती है और उनका दम भी घुट सकता है।
3. हाथ साफ करना – अक्सर बच्चों का डायपर बदलते समय आप हाथ साफ करना जरुरी नहीं समझती लेकिन आपकी इसी गलती के कारण आपको बच्चे को कई तरह की खतरनाक बीमारियां हो सकती है। इसलिए बच्चों का डायपर बदलते समय हाथ जरुर साफ कर लें।

4. स्किन में संक्रमण का खतरा – छोटे बच्चे की स्किन बड़ो के मुकाबले बहुत ज्यादा सेंसटिव होती है। इसलिए बच्चों की सेफ्टी का पूरा ध्यान रखना पेरेंट्स की फर्ज है। नैपी पैड में कई तरह के रसायनों का इस्तेमाल किया जाती है। जिससे बच्चों को गीलापन तो महसूस नहीं होता लेकिन हवा पास न होने के कारण इससे संक्रमण होने का डर रहता है।

5. समय पर बदलना – नैपी पहनाने से पहले बच्चे की त्वचा को अच्छी तरह से साफ कर लें। इसके अलावा बच्चे को 3-4 घंटे से ज्यादा देर तक डायपर न पहनाए। समय-समय पर चेक करते रहें ज्यादा गीला होने पर डायपर को चेंज कर लें।

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The author ramniwas

reporter chhotikashi dot com

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