उत्तर प्रदेश में चोटी कटवा अपना कहर ढाहने के बाद अब कश्मीर पहुँच चुका है. जम्मू और कश्मीर में पिछले कुछ दिनों से चोटी कटने की वारदातें होने लगी हैं. अब इसमें कोई सच्चाई है या फिर उत्तर प्रदेश की तरह ही कोई अफवाह है ये तो जाँच के बाद ही पता चलेगा.

जम्मू और कश्मीर में अचानक से लड़कियों की चोटियां कटने लगी हैं जिसके बाद लोगों ने प्रशासन से सुरक्षा की मांग की है.
अलगाववादी नेता भी मौके को भुनाने के लिए जगह-जगह विरोध प्रदर्शन करने का प्रयास करते रहे लेकिन पुलिस और सुरक्षा एजेंसियों ने उन्हें समय रहते ही रोक लिया.
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार जहां एक ओर अलगाववादी नेता मीरवाइज उमर फारुक को उनके घर में ही बंद कर दिया गया तो दूसरी ओर दूसरे बड़े अलगाववादी नेता यासीन मलिक को हिरासत में ले लिया गया.
किसी भी तरह की कोई अफवाह किसी बड़ी घटना की वजह ना बन जाए इसलिए जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने पहले से ही अगली सूचना तक के लिए श्रीनगर और बडगाम जिलों में मोबाइल और इंटरनेट सेवाओं पर पूरी तरह से रोक लगा दी है.
चोटी काटने वाले की सूचना देने वाले को इनाम देने की भी घोषणा की गई है. सूचना देने वाले को पहले 10 लाख रुपये इनाम देने की घोषणा की गई थी जिसे अब बढ़ाकर 20 लाख कर दिया गया है.
जम्मू कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने राज्य में स्थिति ना बिगड़े इसके लिए तुरंत ही लोगों से शांति बनाये रखने की अपील की और साथ ही भरोसा भी जताया कि दोषियों को जल्द से जल्द पकड़ा भी जाएगा. मुख्यमंत्री ने अलगाववादियों से शांति-व्यवस्था को बनाए रखने की अपील की.